भ्रष्ट पुलिसकर्मियों पर DGP की सख्त कार्रवाई निलंबित कर 800 KM दूर भेजा

भोपाल. मध्य प्रदेश के पुलिस महकमे में भ्रष्टाचार व अन्य तरह की गड़बड़ी करने वाले पुलिसकर्मियों पर कड़ा एक्शन लिया जा रहा है. पुलिस महानिदेशक (डीजीपी) सुधीर कुमार सक्सेना के निर्देश पर भ्रष्टाचार करने वाले पुलिसकर्मियों पर सख्त कार्रवाई की जा रही है. जिन पुलिसकर्मियों के विरुद्ध शिकायतें मिल रहीं हैं, उनको न केवल निलंबित किया जा रहा है, बल्कि स्थानांतरण कर उन्हें 800 किलोमीटर दूर पदस्थ किया गया है. जिन पुलिसकर्मी पर ये कार्रवाई की गई है वे अब दूसरे जिलों में भेजे गए हैं. निलंबन अवधि में उन्हें संबंधित जिले की पुलिस लाइन में ही रहना होगा.
लोकायुक्त ने पकड़ा तो किया निलंबित, दूसरे जिलों में भेजा
उज्जैन में 6 अप्रैल को आरक्षक रवि कुशवाहा को लोकायुक्त पुलिस द्वारा घूस लेते पकड़े जाने पर उसे निलंबित कर सीधी मुख्यालय भेजा गया है. प्रकरण में थाना प्रभारी को भी जिम्मेदार मानते हुए थाना प्रभारी चिमनगंज मंडी जितेंद्र भास्कर को पुलिस लाइन अटैच किया गया है. इसी तरह 28 मार्च को रीवा में ट्रैफिक सूबेदार दिलीप तिवारी एवं आरक्षक अमित सिंह को लोकायुक्त पुलिस ने रिश्वत लेते हुए रंगेहाथ पकड़ा था. इसके पश्चात डीजीपी के आदेश पर दोनों को निलंबित किया गया था. निलंबन के दौरान ही अब दोनों का मुख्यालय परिवर्तन कर सूबेदार दिलीप तोमर को रीवा से शाजापुर एवं आरक्षक अमित सिंह को रीवा से भिंड भेजा गया.
वहीं रीवा में 30 मार्च को रीवा जिले के समान थाना प्रभारी सुनील कुमार गुप्ता और उप निरीक्षक रानू वर्मा द्वारा होटल संचालक से पैसा मांगने की शिकायत लोकायुक्त पुलिस को मिली थी. लोकायुक्त को दबिश से पहले दोनों थाना छोड़कर भाग गए थे. डीजीपी के आदेश से अब निरीक्षक सुनील गुप्ता को रीवा से खंडवा एवं उप निरीक्षक रानू वर्मा को रीवा से टीकमगढ़ स्थानांतरण किया गया है. इसी तरह रीवा जिले के मऊगंज के कार्यवाहक एएसआई राजकुमार पाठक को लोकायुक्त द्वारा पैसे लेते हुए पकड़ा गया था. डीजीपी के आदेश पर एएसआई को स्थानांतरित कर रीवा से बड़वानी भेजा गया. लोकायुक्त से रिपोर्ट मिलने पर पाठक को निलंबित किया जा चुका है. इस मामले में मऊगंज टीआई को भी लाइन भेजा जा चुका है.
गड़बड़ी करने पर हुआ सख्त एक्शन
मुरैना में साइबर सेल द्वारा गड़बड़ी करने की शिकायत मिलने पर एसआई सचिन पटेल प्रभारी साइबर सेल पर कार्रवाई की गई. एसआई पटेल को एसएएफ भेजकर धार पदस्थ किया गया. वहीं आरक्षक सर्वजीत सिंह को मुरैना से अलीराजपुर, रवि पटेल को मंडला, अजीत जाट को बुरहानपुर तथा प्रशांत नरवरिया को मुरैना से झाबुआ पदस्थ किया गया है. इसी तरह यातायात थाना प्रभारी मुरैना अखिल नागर का थाने में शराब पीते हुए वीडियो प्रकाश में आने पर उन्हें तत्काल निलंबित किया गया तथा निलंबन के दौरान उनका मुख्यालय परिवर्तित कर मुरैना से खरगोन दिया गया है.