मध्य प्रदेश

व्यापारी के लाखों रुपए हड़पने खुद को मार डाला, 10 महीने बाद ऐसे निकला जिंदा

छतरपुर. मध्य प्रदेश के छतरपुर जिला पुलिस ने एक ऐसे अजीबो-गरीब मामले का खुलासा किया है, जिसे सुनकर हर कोई चौंक गया. एक ड्राइवर ने व्यापारी के रुपए हड़पने के लिए खुद को ही मृत साबित कर दिया. मौत की पूरी प्लानिंग कर वह रुपए लेकर गायब हो गया. परिवार ने भी उसका साथ दिया और एक अज्ञात लाश की पहचान ड्राइवर के रूप में कर दी. आरोपी ने यह सब करीब साढ़े 6 लाख रुपए हड़पने के लिए किया. पुलिस ने संदेह के आधार पर डीएनए करवाया तो वह मैच नहीं हुआ. अब 10 महीने बाद आरोपी ड्राइवर पुलिस गिरफ्त में आया तो पूरे राज से पर्दा उठा. पुलिस ने उसके पास से 5 लाख रुपए बरामद कर लिए हैं.

 

घटना 16 जुलाई 2021 की है. छतरपुर के लोहा व्यापारी सुधीर अग्रवाल के मैनेजर पुष्पेन्द्र मिश्रा ने बमीठा थाने में रिपोर्ट दर्ज कराई थी. उन्होंने पुलिस को बताया था कि छतरपुर के अनुराग रोड लाइंस से 6 लाख 66 हजार 500 रुपए का सरिया राजनगर के व्यापारी रामप्रताप अवस्थी को भेजा गया था. ट्रक को पनागर गांव का रहने वाला ड्राइवर सुनील नामदेव लेकर गया था. उसने सरिया राजनगर में उतारा और व्यापारी से पूरे रुपए भी ले लिए. इसके बाद वह गाड़ी को गंज के समीप एक वेयर हाउस के पास खड़ी कर कहीं गायब हो गया.

जांच के दौरान 24 जुलाई 2021 को राजनगर थाना क्षेत्र के कोड़ा हार में पुलिस को एक अज्ञात लाश मिली. सुनील के परिवार ने इस लाश की पहचान की और उसका अंतिम संस्कार कर दिया. परिवार ने सभी रस्म अदायगी भी कर डाली. 3 मई 2022 को व्यापारी सुधीर अग्रवाल गंज के समीप स्थित बागेश्वर धाम मंदिर में दर्शन करने जा रहे थे. गढ़ा तिराहे के पास उन्हें सुनील नजर आ गया. सुधीर ने उसे रोका और अपने रुपए मांगते हुए गायब होने की बात पूछी तो वह उन्हें धमकाने लगा. उसने कहा कि वह अब पुलिस की फाइल में मर चुका है. यदि उसे परेशान किया तो वह उसकी हत्या कर देगा. उसने उसे धमकाते हुए उल्टा व्यापारी से 5 लाख रुपए की मांग कर दी. इस पर सुधीर तत्काल बमीठा पुलिस के पास पहुंचे और पूरी कहानी बताई. पुलिस ने घेराबंदी कर शनिवार को आरोपी को दबोच लिया. उसने बताया कि उसने अपने मरने की खुद प्लानिंग की थी.

 

पुलिस ने बताया कि राजनगर में जो अज्ञात लाश मिली थी, परिवार ने भले ही उसकी पहचान सुनील के रूप में की थी, लेकिन हमने उसका डीएनए सैंपल जांच के लिए भिजवाया था. डीएनए रिपोर्ट सुनील नामदेव की नहीं थी. एसपी सचिन शर्मा ने बताया कि इसके बाद पुलिस आरोपी को तलाश रही थी. आरोपी ने बताया कि वह घटना के बाद देश के कई राज्यों में फरारी काटता रहा. पिछले दिनों ही वह वापस लौटा था. फरारी के दौरान वह परिवार से भी संपर्क नहीं कर रहा था. हालांकि पुलिस इस मामले में अब भी इस नतीजे पर नहीं पहुंच पाई है कि राजनगर थाना क्षेत्र में मिली लाश किसकी थी.

Source : palpalindia

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