मध्य प्रदेश

रिश्वत मामले में सीबीआई ने भू अर्जन अधिकारी व एनसीएल के महाप्रबंधक को किया गिरफ्तार

एनसीएल गोरबी बी ब्लाक परियोजना में सीबीआई ने मुआवजे की एवज में रिश्वत लेने के मामले में की छापेमार कार्यवाही, महाप्रबंधक व भूअर्जन अधिकारी रंगे हाथों गिरफ्तार

वैढ़न, सिंगरौली। जिले में स्थापित कोल इंडिया की अनुषांगी इकाई एनसीएल की ब्लाक बी परियोजना में मुआवजे की एवज में रिश्वत की मांग की शिकायत पर सीबीआई ने छापामार कार्यवाही की है। शुक्रवार से शनिवार तक लगभग १६ घंटे चली कार्यवाही में कई कागजात खंगाले गये। लंबी पूछताछ के बाद सीबीआई जबलपुर की टीम ने परियोजना के महाप्रबंधक जीएम सईद गोरी एवं राजस्व शाखा में पदस्थ भू अर्जन अधिकारी चंद्र मोहन गुप्ता को गिरफ्तार किया है. सीबीआई के अधिकारियों ने जानकारी देते हुए बताया कि 2 करोड़ मुआवजे के एवज में 2,00,000 की रिश्वत मांगी गई थी, जहां 40,000 की रिश्वत लेते रंगे हाथ भू अर्जन अधिकारी को सीबीआई ने गिरफ्तार कर लिया है।

जानकारी के अनुसार पीड़ित की शिकायत पर शुक्रवार को एनसीएल के ब्लॉक बी परियोजना में पहुंची सीबीआई जबलपुर की 7 सदस्य टीम ने उसे वक्त राजस्व शाखा में पदस्थ भू अर्जन अधिकारी को रंगे हाथ गिरफ्तार कर लिया, जब पीड़ित व्यक्ति से दो करोड़ रुपए मुआवजा राशि दिलाने के एवज में 2 लाख रुपये में रिश्वत की मांग की गई थी. युवक जब 40 हजार रुपये दे रहा था, उसी वक्त सीबीआई की टीम ने रंगे हाथ भू अर्जन अधिकारी को गिरफ्तार कर लिया. वहीं कार्रवाई के बाद दोपहर 2:00 बजे से सुबह 6:00 तक सीबीआई की टीम त्ररू के आवास एवं भू अर्जन अधिकारी के आवास से लेकर कार्यालय तक जांच में जुट गई और कागज खंगालती रही. 16 घंटे तक चली इस लंबी कार्रवाई में परियोजना त्ररू सईद गोरी के आवास से 13 लख रुपए नगद एवं दो जगह प्रापर्टी के पेपर बरामद किए गए, फिलहाल सीबीआई ने दोनों भ्रष्ट अधिकारियों को जबलपुर सीबीआई कोर्ट में पेश करने के लिए रवाना हो गई.शिकायतकर्ता तथा अन्य विस्थापितों का कहना है कि लगातार चंद्र मोहन गुप्ता जो की परियोजना के राजस्व शाखा के भू अर्जन अधिकारी थे, उनके द्वारा परसेंटेज के आधार पर मुआवजा का कुछ पैसा रिश्वत के रूप में मांगने के बाद ही काम को आगे बढ़ाया जाता था और मुआवजे की राशि दिलाई जाती थी. जो रिश्वत नहीं देता था उसकी फाइल को कई महीनों तक रोक दिया जाता था, ऐसे मजबूर होकर लोक रिश्वत देने को मजबूर हो रहे थे.

शिकायत के बाद बड़े भ्रष्टाचार का खुलासा हुआ और सीबीआई की टीम ने रंगे हाथ राजस्व शाखा में पदस्थ अधिकारी को 40000 रूपये की रिश्वत लेते गिरफ्तार कर लिया गया.इस कार्रवाई के बाद सीबीआई की 7 सदस्यीय टीम लगातार अलग-अलग अधिकारियों से आवास से लेकर कार्यालय तक पूरी रात पूछताछ की और सर्चिंग कर आवास से नगद पैसे और प्रॉपर्टी के कागजात भी बरामद किए।  फिलहाल सीबीआई की टीम ने जीएमऔर भू अर्जन अधिकारी को जबलपुर सीबीआई कोर्ट पेश करने के लिए सिंगरौली से लेकर रवाना हो गई, वहीं इस पूरे सर्च अभियान के दौरान परियोजना जीएम के आवास से 13 लख रुपए नगद और प्रॉपर्टी के दो कागजात भी बरामद किए गए हैं।

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