
चेन्नई. तमिलनाडु की पूर्व मुख्यमंत्री स्व. जे जयललिता की मौत की जांच के लिए नियुक्त रिटायर्ड जस्टिस अरुमुघस्वामी आयोग ने अपनी रिपोर्ट सीएम एमके स्टालिन को सौंप दी है. इस मामले में आयोग ने 590 पेज की रिपोर्ट तैयार की है. तमिलनाडु की पूर्व मुख्यमंत्री और एआईडीएमके की अध्यक्ष रही जयललिता की मौत के असली कारणों का पता लगाने के लिए जांच की मांग उठती रही है.
तमिलनाडु की पिछली ईके पलानिसामी की सरकार ने जस्टिस अरुमुस्वामी की अध्यक्षता में जयललिता के रहस्यमय इलाज और मौत से जुड़े मामले की जांच के लिए आयोग बनाया था. इस आयोग के सामने पनीरसेल्वम पेश हुए थे. उन्होंने कहा कि मुझे नहीं पता कि जयललिता अस्पताल में भर्ती क्यों हुईं थीं. उन्हें इलाज क्या दिया गया. अपोलो अस्पताल के किन-किन डॉक्टरों की टीम उन्हें देख रही थी, यह भी नहीं मालूम. मुझे तो राज्य के स्वास्थ्य सचिव से यह पता चला था कि जयललिता को अस्पताल ले जाया गया है.
जयलिलता की मौत से कुछ दिन पहले अपोलो अस्पताल की ओर से बयान आया था कि जयललिता स्वस्थ हो चुकी हैं और जब चाहें छुट्टी ले सकती हैं लेकिन फिर अचानक उनकी तबीयत खराब हुई और मौत हो गई. गौरतलब है कि जयललिता का निधन 5 दिसंबर 2016 को रात्रि 11:30 बजे चेन्नई के अपोलो अस्पताल में हो गया था. करीब 75 दिनों तक अस्पताल में भर्ती रहने के बाद जयललिता का निधन हुआ था.
Source : palpalindia