सुक्खू सरकार का फैसला: हिमाचल प्रदेश में बंद होंगे 606 सरकारी स्कूल और 19 कॉलेज

शिमला. हिमाचल प्रदेश सरकार पिछली भाजपा सरकार के समय में खोले गए 686 सरकारी स्कूलों तथा 19 कॉलेजों को बंद कर दिया है, इसके साथ ही सुक्खू सरकार ने प्राइमरी से लेकर वरिष्ठ माध्यमिक स्कूलों को खोलने के लिए नियम तय कर दिए हैं. शिक्षा मंत्री रोहित ठाकुर ने कहा कि प्राइमरी स्कूलों में कम से कम 10 बच्चों का होना अनिवार्य है. इसी तरह मिडिल स्कूलों के लिए 15, हाई स्कूलों के लिए 20 और वरिष्ठ माध्यमिक पाठशाला के लिए 25 बच्चों की शर्त को अनिवार्य किया जाएगा. प्रदेश में 606 के करीब स्कूल ऐसे हैं, जहां पर इससे कम संख्या है. सरकार इन स्कूलों को साथ लगते स्कूलों में मर्ज कर दिया जाएगा या फिर बंद ही कर दिया जाएगा. बताया जा रहा है कि इनमें से कुछ स्कूल बीती जयराम सरकार में खोले गए थे. वहीं कुछ काफी समय से चल रहे हैं.
जानकारी के अनुसार पूर्व सरकार के समय में खुले 23 में से 19 कॉलेजों को भी सरकार ने बंद कर दिया है. शिक्षा मंत्री रोहित ठाकुर ने कहा कि इस निर्णय से प्रदेश में गुणात्मक शिक्षा को बढ़ावा मिलेगा. साथ लगते स्कूलों में मर्ज होने वाले स्कूलों के बच्चों को सुगमता से नए स्कूल तक पहुंचने की व्यवस्था की जाएगी. निदेशालय का तर्क है कि वर्तमान में कई स्कूलों में बच्चे कम होने से ग्रुप लर्निंग का माहौल नहीं बन पा रहा है. ऐसे में कम विद्यार्थियों की संख्या वाले स्कूलों को दूसरे स्कूलों में मर्ज किया जाना चाहिए.
मंत्री रोहित ठाकुर ने कहा कि जिन स्कूलों को दूसरे स्कूल में मर्ज किया जाएगा, वहां के शिक्षकों और अन्य स्टाफ को रिक्त पदों वाले स्कूलों में नियुक्ति दी जाएगी. इससे स्कूलों में कम से कम 2500 के करीब शिक्षकों की कमी दूर हो जाएगी. कम संख्या वाले स्कूलों को मर्ज करने का प्रस्ताव पूर्व सरकारों के समय में भी आता रहा हैं. चुनावी वर्ष और लोगों के दबाव के चलते हर सरकार ने अपने हाथ पीछें खींचे हैं, लेकिन सरकार ने सत्ता में आते ही स्कूलों को लेकर यह बड़ा निर्णय लिया है. शिक्षा विभाग का तक है कि जहां पर छात्रों की संख्या कम है वहां पर प्रतिस्पर्धा भी कम होती है. जब बच्चों की संख्या ज्यादा होगी तो बच्चों में प्रतिस्पर्धा होगी. प्रतिस्पर्धा खेलकूद के अलावा पढ़ाई में भी होगी. वहीं, शिक्षक भी अच्छी तरह से बच्चों को पढ़ा सकेंगे और स्कूलों में शिक्षक भी पूरे होंगे.
गौरतलब है कि इससे पहले हिमाचल में सुक्खू सरकार के गठन के बाद जयराम सरकार के अंतिम आठ महीने के कार्यकाल का रिव्यू किया गया था. इस दौरान सरकार ने जयराम राज में खुले 600 से अधिक सरकारी दफ्तरों को बंद कर दिया था. इनमें स्वास्थ्य, पीडब्ल्यूडी, जलशक्ति बिजली, समेत अन्य विभागों के दफ्तर शामिल थे. सरकार ने तर्क दिया है कि ये संस्थान बिना बजट के खोले गए थे.
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